𝐵𝑙𝑢𝑒𝑡𝑜𝑜𝑡ℎ क्या है पूरी जानकारी

𝑩𝒍𝒖𝒆𝒕𝒐𝒐𝒕𝒉 क्या है पूरी जानकारी 

नमस्कार दोस्तों आप सभी का हमारे 𝐇𝐈𝐍𝐔 ब्लॉग में स्वागत है दोस्तों हमने \”हिंदी 𝒂𝒓𝒕𝒊𝒄𝒍𝒆\” में बहुत से आर्टिकल लिखे हैं . इनसे रिलीटेड नई जानकारियां, 𝐨𝐧𝐥𝐢𝐧𝐞 𝐞𝐚𝐫𝐧𝐢𝐧𝐠 , 𝐬𝐩𝐚𝐜𝐞 𝐄𝐧𝐠𝐥𝐢𝐬𝐡 𝐟𝐚𝐜𝐭𝐬 सभी के बारे में बहुत से आर्टिकल लिखे हैं |
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𝑩𝒍𝒖𝒆𝒕𝒐𝒐𝒕𝒉 क्या है और कैसे काम करता है ??

ब्लूटूथ के बारे में तो आपने सुना ही होगा. जब भी हम अपने 𝐬𝐦𝐚𝐫𝐭𝐩𝐡𝐨𝐧𝐞 को किसी दुसरे 𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞 से 𝐜𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭 करते हैं तो इसकी आवश्यकता होती है. यह हमे दो 𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 के बीच 𝐰𝐢𝐫𝐞𝐥𝐞𝐬𝐬 𝐜𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧  प्रदान करता है जिसकी सहायता से हम डाटा एक 𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞 से दुसरे 𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞 में आसानी से भेज सकते हैं. अगर आप जानना चाहते हैं कि  𝐛𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 क्या है और यह कैसे काम करता है, तो आप बिलकुल सही प्लेटफार्म पर हैं | यहाँ मै आपको  𝐛𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 के काम करने की विधि और इससे जुड़ी हर तरह की जानकारी के बारे में बताऊंगा. तो चलिए जानते हैं 𝐛𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 क्या है –

𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 क्या है ?

ब्लूटूथ एक कम दूरी में काम करने वाली 𝐰𝐢𝐫𝐞𝐥𝐞𝐬𝐬 𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐲  है जो की दो या इससे अधिक 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 के बीच जैसे 𝐦𝐨𝐛𝐢𝐥𝐞 𝐩𝐡𝐨𝐧𝐞𝐬 ,  𝐂𝐨𝐦𝐩𝐮𝐭𝐞𝐫𝐞𝐫𝐬 इत्यादि के बीच 𝐃𝐚𝐭𝐚 या 𝐕𝐨𝐢𝐜𝐞 को बिना किसी 𝐖𝐢𝐫𝐞 की सहायता के सिमित दूरी तक 𝐓𝐫𝐚𝐧𝐬𝐦𝐢𝐭  करता है.  𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 नाम की उत्पति 10वीं शताब्दी के 𝐃𝐚𝐧𝐢𝐬𝐡 𝐊𝐢𝐧𝐠 , जिनका नाम  𝐇𝐚𝐫𝐚𝐥𝐝 \”𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡\” 𝐆𝐨𝐫𝐦𝐬𝐬𝐨𝐧 था के नाम से हुई थी | 
𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡, को सन 1996 में 𝐂𝐚𝐛𝐥𝐞𝐬 की जगह 𝐖𝐢𝐫𝐞𝐥𝐞𝐬𝐬 𝐑𝐞𝐩𝐥𝐚𝐜𝐞𝐦𝐞𝐧𝐭  के तौर पर 𝐃𝐞𝐯𝐞𝐥𝐨𝐩 किया गया. यह भी दुसरे 𝐖𝐢𝐫𝐞𝐥𝐞𝐬𝐬 𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐲 जैसे की घर और ऑफिस में प्रयोग होने वाले 𝐂𝐨𝐫𝐝𝐥𝐞𝐬𝐬 𝐩𝐡𝐨𝐧𝐞𝐬  और 𝐖𝐈𝐅𝐈  𝐑𝐨𝐮𝐭𝐞𝐫𝐬 की तरह 2.4 𝐆𝐇𝐙  𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲  पर ही काम करता है |

यह अपने चारो तरफ 10 मीटर (33 फूट) के दायरे में एक Radius Wireless Network का निर्माण करता है जिसे Personal Area Network (PAN) या Piconet कहते हैं, जो की 2 से लेकर 8 Devices के बीच सम्पर्क स्थापित कर सकता है |

           𝐖𝐈𝐑𝐄𝐋𝐄𝐒𝐒 𝐍𝐄𝐓𝐖𝐎𝐑𝐊

                     
उदाहरण के लिए अगर आप अपने कमरे में 𝐌𝐨𝐛𝐢𝐥𝐞 𝐩𝐡𝐨𝐧𝐞  से 𝐂𝐨𝐦𝐩𝐮𝐭𝐞𝐫 पर फोटो भेजना चाहते हैं तो 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 के माध्यम से बिना किसी 𝐂𝐚𝐛𝐥𝐞 के भेज सकते हैं. इसके लिए किसी भी तरह की 𝐂𝐚𝐛𝐥𝐞, 𝐂𝐨𝐫𝐝 की जरूरत नहीं होती. जो भी डाटा transfer होता है वह बिलकुल secure होता है.

𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 कैसे काम करता है ? ?

जैसे जैसे दुनिया 𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐲  के मामले में आगे बढती जा रही है, हमने उन सभी 𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐢𝐞𝐬  को 𝐀𝐝𝐨𝐩𝐭 किया है जो हमे अपने परिवार और दोस्तों से जोड़े रखने में मदद करती है. बहुत सारी ऐसी 𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐢𝐞𝐬 आयी और चली गयी.  𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 एक ऐसा 𝐖𝐢𝐫𝐞𝐥𝐞𝐬𝐬 𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐯𝐢𝐭𝐲 𝐒𝐭𝐚𝐧𝐝𝐚𝐫𝐝 हैं  जो 𝐑𝐚𝐝𝐢𝐨 𝐒𝐢𝐠𝐧𝐚𝐥𝐬 का इस्तेमाल करता है, आज सबसे ज्यादा इस्तेमाल होने वाला 𝐏𝐫𝐨𝐭𝐨𝐜𝐨𝐥 बन गया है | 
𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐍𝐞𝐭𝐰𝐨𝐫𝐤𝐢𝐧𝐠 के मामले में 𝐋𝐨𝐰 𝐏𝐨𝐰𝐞𝐫 𝐑𝐚𝐝𝐢𝐨 𝐰𝐚𝐯𝐞𝐬  के माध्यम से 𝐃𝐚𝐭𝐚 को संचारित किया जाता है. यह 2.45 𝐆𝐇𝐙  𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲  पर 𝐂𝐨𝐦𝐦𝐮𝐧𝐢𝐜𝐚𝐭𝐞 करता है |   यह  𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲 𝐛𝐚𝐧𝐝  कुछ चुनिंदा 𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐧𝐜𝐲  में से एक है जिसे औद्योगिक, वैज्ञानिक और चिकित्सा उपकरणों (𝐈𝐒𝐌) के लिए अंतरराष्ट्रीय समझौते पर अलग रखा गया है |

𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐀𝐝𝐚𝐩𝐭𝐞𝐫  क्या हैं ? और 

वे कैसे काम करते हैं ? ?

𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐑𝐚𝐝𝐢 𝐖𝐚𝐯𝐞𝐬 की 𝐅𝐨𝐫𝐦 में 𝐃𝐚𝐭𝐚 भेजने और 𝐑𝐞𝐜𝐞𝐯𝐢𝐞 करने के साधारण 𝐏𝐫𝐢𝐧𝐜𝐢𝐩𝐚𝐥 पर काम करता है. प्रत्येक 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞 में एक 𝐂𝐚𝐫𝐝 जैसा 𝐀𝐭𝐭𝐚𝐜𝐡𝐦𝐞𝐧𝐭 जैसा  होता है जिसे 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡  𝐀𝐝𝐚𝐩𝐭𝐞𝐫 के नाम से जाना जाता है. यही  𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞  𝐃𝐚𝐭𝐚 𝐒𝐞𝐧𝐝 करता है और  𝐑𝐞𝐜𝐞𝐯𝐞 करता है. इस  𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡   𝐀𝐝𝐚𝐩𝐭𝐞𝐫 में  𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧  की एक विशेष 𝐑𝐚𝐧𝐠𝐞 होती है| 
यह  𝐄𝐥𝐞𝐜𝐭𝐫𝐨𝐧𝐢𝐜 𝐚𝐝𝐚𝐩𝐭𝐞𝐫 तभी किसी दूसरे 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞  किसी को 𝐍𝐨𝐭𝐢𝐜𝐞 करता है जब दूसरा 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞  पहले वाले 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞  की 𝐑𝐚𝐧𝐠𝐞  में हो. जब वे एक दूसरे के 𝐑𝐚𝐧𝐠𝐞 में होते हैं तो अपने बीच एक  𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧 बना लेते हैं. दो  𝐝𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬  के बीच बने इसी  𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧 को 𝐏𝐚𝐢𝐫𝐢𝐧𝐠 𝐎𝐟 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 कहा जाता है | 

दो   𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬  

के बीच  में 𝐃𝐚𝐭𝐚 कैसे  𝐓𝐫𝐚𝐧𝐬𝐟𝐞𝐫 होता है??

दो  𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 के बीच 𝐃𝐚𝐭𝐚  भेजने और प्राप्त करने के लिए  𝐑𝐚𝐝𝐢𝐨 𝐖𝐚𝐯𝐞𝐬 𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧 का इस्तेमाल किया जाता है. इसमें  𝐃𝐚𝐭𝐚 𝐓𝐫𝐚𝐧𝐬𝐟𝐞𝐫 𝐒𝐩𝐞𝐞𝐝 720  𝐊𝐁𝐏𝐒 की होती है. इस  𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐲 में 2.45  𝐆𝐢𝐠𝐚 𝐇𝐞𝐫𝐭𝐳𝐚 𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲 के साथ 79  𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲 𝐜𝐡𝐚𝐧𝐧𝐞𝐥𝐬 का इस्तेमाल किया जाता है जिनके माध्यम से  𝐃𝐚𝐭𝐚 𝐬𝐞𝐧𝐝  और  𝐑𝐞𝐜𝐞𝐢𝐯𝐞 किया जाता है| 
 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡  चालू करने पर जब दो  𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞  एक दुसरे से  𝐩𝐚𝐢𝐫 होने की कोशिश करते हैं तब वास्तव में वे एक ऐसी  𝐂𝐨𝐦𝐦𝐨𝐧 𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲 𝐒𝐞𝐚𝐫𝐜𝐡 कर रहे होते हैं जिसके माध्यम से 𝐃𝐚𝐭𝐚 भेजा और प्राप्त किया जा सके. जब ऐसी   𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲 मिल जाती है तो वे आपस में 𝐜𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭 हो जाते हैं | 
दो   𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 के बीच में बना  𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧 अन्य  𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 के  𝐂𝐨𝐧𝐧𝐞𝐜𝐭𝐢𝐨𝐧 में बाधा नहीं डालता है क्योंकि वे अलग अलग  𝐅𝐫𝐞𝐪𝐮𝐞𝐧𝐜𝐲 𝐂𝐡𝐚𝐧𝐧𝐞𝐥𝐬 का इस्तेमाल करते हैं और  𝐎𝐯𝐞𝐫𝐥𝐚𝐩 नहीं होते. साधारण शब्दों में इसे  𝐏𝐫𝐢𝐧𝐜𝐢𝐩𝐚𝐥𝐞  𝐁𝐞𝐡𝐢𝐧𝐝 𝐛𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐓𝐞𝐜𝐡𝐧𝐨𝐥𝐨𝐠𝐲 कहा जाता है | 

 𝐏𝐢𝐜𝐨𝐧𝐞𝐭 क्या है? यह 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡  से कैसे सबंधित है??

 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐍𝐞𝐭𝐰𝐨𝐫𝐤  का अपना खुद का एक  𝐏𝐞𝐫𝐬𝐨𝐧𝐚𝐥 𝐀𝐫𝐞𝐚 𝐍𝐞𝐭𝐰𝐨𝐫𝐤 या  𝐏𝐢𝐜𝐨𝐧𝐞𝐭 होता है, जिसमे 2 से लेकर 8  𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 तक शामिल होते हैं. इन  𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞𝐬 में एक 𝐌𝐚𝐬𝐭𝐞𝐫   𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞  होता है और अन्य 7 𝐒𝐥𝐚𝐯𝐞𝐬 होते हैं.  𝐌𝐚𝐬𝐭𝐞𝐫 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞   एक Bluetooth Device होता है जो कि अन्य devices के साथ communicate करता है. यह स्वयं और दुसरे 7 Slaves के बीच communication link और traffic को नियंत्रण करता है.
Slave Devices खुद master device को respond करते हैं. इन devices में से कोई भी के एक superior device या master device हो सकता है. बाकि devices को slaves कहा जाता है. ये सभी slaves, master device द्वारा दी गई instructions पर ही act करते हैं. सभी devices में से Master device कौनसा होगा यह उस समय की situation पर depend करता है.
जहाँ पर Multiple Piconets का Combination होता है उसे Scatternet कहते हैं. कोई device multiple piconets में participate कर सकता है. इसके लिए इसे timeshare करना पड़ता है और मौजूदा piconet के master device के साथ synchronize भी होना पड़ता है.[fore more information visit here]

Bluetooth नाम कैसे रखा गया??

सन 1996 में Intel, Ericsson, Nokia और IBM जैसी बड़ी कंपनियां Technology Industry में wireless communication के लिए एक नया standard बनाना चाहती थी.इसके लिए इन कंपनियों ने अलग अलग Short Range Radio Technology को develop किया, लेकिन जो भी नाम इन कंपनियों द्वारा इस technology को दिया गया वो किसी को भी पसंद नहीं आ रहा था. उसी समय इस कहानी में मध्ययुग के Danish King Haralad Bluetooth की एंट्री होती है.
Intel के इंजिनियर Jim Kardach जिन्होंने corporate मध्यस्थ की भूमिका निभाते हुए बहुत सारी कंपनियों को एकजुट किया, ने Danish के राजा Harald “Bluetooth” Gormsson के शासनकाल के दौरान की किताब The Longships by Frans G. Bengtsson को पढ़ा, जिसमे Harald “Bluetooth” Gormsson द्वारा डेनिश योद्धाओं को एकीकृत करने का विवरण किया गया था. Harald “Bluetooth” Gormsson ने डेनिश योद्धाओं को एकजुट होकर लड़ने का संदेश दिया था.
ठीक इसी प्रकार PC और Cellular उद्योगों को एकजुट करने के उद्देश्य से ही इस Short Range Wireless Link को develop किया गया था. Jim Kardach राजा Harald “Bluetooth” Gormsson की भूमिका से बहुत प्रभावित हुए और उन्होंने इस Technology का नाम Bluetooth रख दिया.

Bluetooth के Advantages क्या हैं??

 
Bluetooth के Advantages कुछ इस प्रकार हैं:
– Bluetooth के माध्यम से devices के बीच बिना किसी wire के data transfer किया जा सकता है
– Bluetooth में WiFi के अपेक्षा बहुत ही कम power consumption होता है.
– यह किसी दिवार के आर पार भी data transfer कर सकता है.
– इसकी range Infrared communication की तुलना में अधिक होती है.
– Bluetooth के माध्यम से होने वाला data transmission बहुत ही secure होता है, क्योकिं इस technology में FHSS का इस्तेमाल होता है.
– इस technology का इस्तेमाल Car System, Smartphones, Printer, Speakers, Head Phones, GPS System, Mouse, Keyboard इत्यादि में किया जा सकता है.
– Bluetooth Devices की किमत बहुत ही कम होती है जिसे कोई भी खरीद सकता है.
– Bluetooth devices को एक दुसरे के साथ pair करना बहुत ही आसान होता है. इसको install करने के लिए किसी भी तरह की कोई setup file की जरूरत नहीं होती.
Bluetooth के Disadvantages क्या है?
Bluetooth के Disadvantages कुछ इस प्रकार हैं:
– WiFi की तुलना में इसकी bandwidth काफी कम होती है जो इसको अधिक limited बना देता है.
– इसका सबसे बड़ा disadvantage इसकी security है. Bluetooth radio frequency पर operate करता है जिसके माध्यम से यह दीवारों को आसानी से penetrate कर सकता है. इसलिए यह सलाह दी जाती है कि इसका इस्तेमाल किसी Business या Personal Data transfer के लिए न करें.

Bluetooth Technology के Main Features क्या हैं?? 

> यह 2.45 GHz frequency band पर काम करता है जहाँ पर wireless communication के लिए किसी भी तरह के licence की जरूरत नहीं पड़ती.
> इसके द्वारा 10-100 Meter के दायरे में डाटा को ट्रान्सफर किया जा सकता है.
> Bluetooth के लिए infrared data communication device की तरह close proximity और accuracy की जरूरत नहीं पड़ती. यह दीवार के आरपार भी काम कर सकता जबकी infrared इस तरह की रुकावट नहीं झेल सकता.
> Bluetooth point to point और point to multipoint दोनों तरह के wireless connections को support करता है.
> Bluetooth में data transfer स्पीड version to version भिन्न होती है. Version 1.2 में Data transfer rate 1Mbps तक होता है जबकि Version 2.0 में यह 3 Mbps तक होता है.

Bluetooth कितना सुरक्षित है?? 

Bluetooth में इस्तेमाल होने वाली technology तीन तरह की security प्रदान करती है.
> Frequency Hopping Spread Spectrum (FHSS) – Frequency Hopping Spread Spectrum (FHSS) कि मौजूदगी में किसी के लिए भी data को चोरी-छिपे निकालना नामुमकिन है.
> Authentication – Authentication उपयोगकर्ता को specified devices के साथ connectivity को सिमित करने की अनुमति देता है.
> Encryption – Encryption कुछ secret keys का इस्तेमाल करके data को authorized party तक पहुंचाता है. Service-level security और Device-level security मिलकर एक साथ काम करते हैं और Bluetooth device को unauthorized data transmission से बचाते हैं.
Bluetooth Technology कितने प्रकार की होती है?
Bluetooth Technology कितने types की होती है, यह आप नीचे दी गई लिस्ट में देख सकते हैं.

> Bluetooth Keyboard

> Bluetooth Headsets

> Bluetooth Stereo Headsets

> Bluetooth Enables Webcam

> Bluetooth GPS Device

> In- Car Bluetooth Headset

> Bluetooth- Printer

Bluetooth Keyboard

Bluetooth Keyboard को बिना किसी wire के किसी भी device जैसे की laptop या computer में connect किया जा सकता है. Bluetooth Keyboard को smartphone में भी कनेक्ट किया जा सकता है.

Bluetooth Headsets

Bluetooth Headsets का उपयोग ज्यादातर smartphone या mobile phones के साथ connect करने के लिए किया जाता है. इसके माध्यम से आप बिना किसी wire की सहायता के अपने फोन को कनेक्ट करके call कर सकते हैं या receive कर सकते हैं.

Bluetooth Stereo Headsets

Bluetooth Stereo Headsets वैसे ही कार्य करता है जैसे Traditional Stereo Headsets कार्य करता है. लेकिन इसमें किसी तरह की wire की जरूरत नहीं पड़ती. इस Headset का इस्तेमाल Mobile Phones या Smartphones में Music Player के साथ connect करने के लिए किया जाता है. Bluetooth Stereo Headset और Smartphone के बीच दूरी बहुत कम होती है.

Bluetooth Enables Webcam

Bluetooth Enables Webcam की कार्यशैली बिलकुल वैसी ही है जैसे Traditional Webcam की होती है. इनको laptop या computer से connect करने के लिए किसी तरह के wire की जरूरत नहीं होती. Bluetooth Enables Webcam को फोटो या विडियो के लिए किसी भी दिशा में घुमाया जा सकता है.

𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐆𝐏𝐒 𝐃𝐞𝐯𝐢𝐜𝐞 

GPS Device के साथ Bluetooth Technology का इस्तेमाल Traditional GPS में एक improvement है. इस device को voice की सहायता से नियंत्रित किया जाता है. अगर हम बोल कर GPS में address बताते हैं तो screen के ऊपर उस address की direction आ जाती है.

In- Car Bluetooth Headset

In- Car Bluetooth Headset में हम अपने mobile phone को कार के speakers के साथ connect कर सकते हैं. इसकी सहायता से कार में music चलाया जा सकता है और phone calls dial या receive किए जा सकते हैं.

 𝐁𝐥𝐮𝐞𝐭𝐨𝐨𝐭𝐡 𝐄𝐪𝐮𝐢𝐩𝐩𝐞𝐝 𝐩𝐫𝐢𝐧𝐭𝐞𝐫

Bluetooth Equipped Printer के इस्तेमाल से किसी भी Bluetooth Device की सहायता से Text Documentation और Pictures को प्रिंट किया जा सकता है. Bluetooth Device जैसे की Laptop, Mobile phones या Smartphone बिना किसी wire की सहायता से इस प्रिंटर से connect किए जा सकते हैं.

Bluetooth Technology के Applications क्या है? 

Bluetooth Technology का इस्तेमाल निम्नलिखित कार्य के लिए किया जाता है.
> इसकी सहायता से images, video और audio जैसी files को बिना किसी wire या cable का इस्तेमाल किए smartphone या laptop से transfer किया जा सकता है.
> Laptop और computers के बीच wireless network स्थापित करने के लिए इस technology का इस्तेमाल किया जाता है क्योंकि इसमें बहुत ही कम Bandwidth की आवश्यकता होती है.
> सभी peripheral devices जैसे की keyboard, speakers, mouse, printer इत्यादि को PC या laptop से बिना किसी wire या cord के कनेक्ट किया जा सकता है.

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